चम्बा हिमाचल प्रदेश के प्रसिद्ध पर्यटन स्थल | Famous tourist places of Chamba Himachal Pradesh: चंबा हिमाचल प्रदेश का बहुत ही खूबसूरत वह बहुचर्चित पर्यटन स्थलों में से एक है। चंबा शहर रावी नदी के किनारे हरे भरे पहाड़ों और प्राकृतिक सौंदर्य के बीच में स्थित है। यहां पर अनेक घूमने लायक जगह है जो पर्यटकों को अपनी ओर आकर्षित करती हैं। चम्बा हिमाचल प्रदेश के प्रसिद्ध पर्यटन स्थल में देश-विदेश से लोग अक्सर घूमने के लिए आते रहते हैं । यहां पर लोग अपना आनन्ददायक समय यहां पर व्यतीत करते हैं। चम्बा हिमाचल प्रदेश के प्रसिद्ध पर्यटन स्थल खजियार को “मिनी स्वीटजरलैंड” के नाम से भी जाना जाता हैं।
यहां की खूबसूरत पहाड़ीयां व घाटियां चंबा को वाकई किसी विदेश की यात्रा के समान बना देती हैं। चम्बा जिला में घुमने के लिए प्रमुख रूप से खजियार, डलहौजी, मणिमहेश झील, लक्ष्मीनारायण मन्दिर, चम्पावती मन्दिर आदि अनेक खुबसुरत पर्यटन स्थल हैं जहां कम खर्चे में आनन्द लिया जा सकता है। यह समुद्र तल से लगभग 996 meter की ऊंचाई पर स्थित है। एक शानदार यात्रा चंबा शहर के लिए की जा सकती है।
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चंडीगढ़ से चंबा की दूरी लगभग 332 किलोमीटर है। इसकी यात्रा आप चंडीगढ़ तक हवाई मार्ग से वह आगे की यात्रा टैक्सी से सकते है। अगर आप कांगड़ा जिला में गग्गल एयरपोर्ट पर लैंड करते हैं तो वहां से चंबा की दूरी मात्र 117 किलोमीटर की रहती है। तो आज हम इस लेख में आपको चंबा शहर की यात्रा पर ले चलते हैं और क्रमानुसार जानेंगे की कौन-कौन से पर्यटनस्थल व धार्मिक स्थल चंबा जिला में है-
खजियार प्रसिद्ध पर्यटन स्थल | Khajjiar Famous Tourist Places
हिमाचल प्रदेश का खजियार हिल स्टेशन चंबा शहर का बहुचर्चित व खूबसूरत पर्यटन स्थल है। इसकी दूरी चंबा शहर से मात्र 14 किलोमीटर है। यह पठारी क्षेत्र धौलाधार पर्वत श्रृंखला के अंतर्गत आता है। यहां के घास के मैदान व इसके आसपास घने देवदार के जंगलों का मनमोहक व सुंदर दृश्य देखने को मिलता है।

खजियार की अलौकिक प्राकृतिक सौंदर्य को देखने के लिए देश-विदेश के पर्यटक अपनी जीवनशैली का कुछ पल यहां पर आनंद पूर्वक बिताते हैं। इतने सुंदर घास के मैदानों की वजह से ही इसे मिनी स्वीटजरलैंड कहा जाता है। माना जाता है की स्विट्जरलैंड के वाइस काउंसलर पी. ब्लेजर जब भारत में अपनी खज्जियार यात्रा पर थे। तब सबसे पहले उन्होंने इस जगह को “मिनी स्विट्जरलैंड” कह कर बुलाया था।
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डलहौजी हिल स्टेशन | Dalhousie Hill Station
डलहौजी हिमाचल प्रदेश के चंबा जिले का प्रमुख हिल स्टेशन है। इस शहर नाम ब्रिटिश राज में 1854 ईसवी में ब्रिटिश गवर्नर जनरल लॉर्ड डलहौजी के नाम पर रखा गया है। डलहौजी शहर धौलाधार पर्वत श्रृंखला के बीचों बीच बहुत ही रोमांच सुंदर एवं व्यवस्थित तरीके से बसा हुआ है।

यह शहर वहां पर स्थित पांच प्रमुख पहाड़ियों पर स्थित है यह पांच पहाड़ियां क्रमशः- काथलॉग, पोर्टएन, तेहरा, बाकरोता और बालून हैं। डलहौजी पहुंचने के लिए निकटतम हवाई अड्डा पठानकोट है। पठानकोट से डलहौजी की दूरी लगभग 90 किलोमीटर है।
मणिमहेश झील तीर्थ स्थल | Manimahesh Lake Tirth Sthal
हिमाचल प्रदेश में स्थित चंबा जिले में मणि महेश झील हिमालय की पीर पंजाल श्रेणी में स्थित है। मणिमहेश झील हिमाचल प्रदेश का बहुत ही सुंदर पर्यटन स्थल है> यह झील भरमौर से 21 किलोमीटर की दूरी पर स्थित है। इस झील का इतना सुंदर व मनमोहक दृश्य को देखने के लिए दूर-दूर से पर्यटक अक्सर आते जाते रहते हैं।

चंबा शहर से मणिमहेश की दूरी लगभग 50 किलोमीटर पर स्थित है। आप वहां की यात्रा मोटरसाइकिल ,कार,बस वह हेलिटैक्सी से भी कर सकते हैं। मणिमहेश कैलाश पर्वत पर भगवान शिव जी का पवित्र निवास माना जाता है। किस स्थान पर आप ट्रैकिंग भी कर सकते हैं। लोग यहां पर इस पवित्र जल में डुबकी लगाकर बहुत आनंद महसूस करते हैं।
लक्ष्मी नारायण मंदिर | Laxmi Narayan temple
लक्ष्मी नारायण मंदिर हिमाचल प्रदेश में एक और लोकप्रिय व धार्मिक स्थल है। यह मंदिर चंबा जिला के प्रमुख मंदिरों में से एक है। माना जाता है कि यह मंदिर चंबा जिले का प्रमुख और सबसे पुराना मंदिर है। यह मंदिर भगवान विष्णु और शिव को समर्पित है। इतिहास के पन्नों को देखें तो इस मंदिर में साक्षात भगवान विष्णु की मूर्ति संगमरमर से बनी थी। माना जाता है कि उस समय के राजा साहिल वर्मन ने संगमरमर को लाने के लिए अपने आठ पुत्रों की बलि चढ़ा दी थी। और अंत में उनके सबसे बड़े पुत्र युगकारा संगमरमर लाने में सफलता प्राप्त की थी।

आपको हम बता दें कि जब आप चंबा शहर की यात्रा करें तब इस मंदिर के दर्शन अवश्य करें। आपको बता दें कि अगर आप मंदिर के दर्शन के लिए जाते हैं तो यह मंदिर दिन में दो बार खुलता है सुबह यह मंदिर 6:00 बजे से दोपहर की 12:30 तक खुला रहता है। उसके बाद अपराह्न 2:30pm से रात के 8:30 बजे तक भक्तों के लिए खुला रहता है।
चंबा का चौगान | Chamba Chaugan
चुंबक का चौगान चंबा शहर के बिल्कुल मध्य में स्थित है। यह चौहान एक समतल मैदान है प्राचीन समय में इसका निर्माण ब्रिटिश के प्रमुख अधिकारियों को खेलने के लिए करवाया गया था। यह लगभग 80 मीटर चौड़ा व 800 मीटर लंबा है। परंतु अब वर्तमान की स्थिति में इस मैदान का प्रयोग राज्य स्तरीय खेलकूद व अन्य गतिविधियों के लिए किया जाता है।

चंबा का प्रसिद्ध मेला जिसे हम चंबा का मिंजर मेला कहते हैं इस मेले का आयोजन भी वर्तमान में इसी मैदान में किया जाता है। यह मेला श्रावण महिने के द्वितीय रविवार को आयोजित किया जाता है। इस मेले में आपको कई ऐसी चीजें देखने को मिलती है जैसे प्रसिद्ध चप्पले, हस्तशिल्प से निर्मित वस्तुएं, धातु से बनी हुई कलाकृतियां पत्थर , पहाड़ी पेंटिंग्स इत्यादि चीजें खरीदने के लिए चौगान मैदान के अलावा किसी और जगह को उपयुक्त नहीं माना जाता। अक्सर लोग गर्मियों में परिवार संघ पिकनिक मनाने के लिए आते हैं। इसके आसपास बहुत सारी शॉपिंग सेंटर हैं जहां पर आप शॉपिंग भी कर सकते हैं।
चम्पावती मन्दिर | Champawati Temple
चंपावती मंदिर चंबा जिले का प्राचीन मंदिरों में से एक माना जाता है। इस प्रसिद्ध मंदिर का निर्माण चंबा शहर के संस्थापक साहिल वर्मन ने अपनी बेटी चंपा के नाम पर रखा था। इसकी प्रसिद्धि चंबा के लक्ष्मी नारायण मंदिर के समान है ।

मां भगवती के 9 अवतारों में से एक महिषासुर मर्दिनी की मूर्ति को मंदिर के गर्भ में स्थापित किया गया है। मंदिर के ऊपरी भाग पर एक गोल पहिया बना हुआ है। इस पहिए की खूबसूरती से ही मंदिर का शिखर भाग लोगों को अपनी ओर आकर्षित करता है।
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